जब चौटाला ने पत्रकारों से कहा इतनी हमदर्दी है तो चंदा करके खेमका को कार दिला दो

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जब चौटाला ने पत्रकारों से कहा इतनी हमदर्दी है तो चंदा करके खेमका को कार दिला दो

जब एक महिला नेता ने बंसीलाल की बजा दी थी बंसी

गुस्ताखी माफ़ हरियाणा 🙁 पवन कुमार बंसल)
जब चौटाला ने पत्रकारों से कहा इतनी हमदर्दी है तो चंदा करके खेमका को कार दे दो।


अशोक खेमका चर्चा में है। ऐसी भी चर्चा है की वे रिटायरमेंट ले कर हरियाणा में आम आदमी पार्टी की कमान संभाल सकते है। वैसे भी पार्टी का सारा संगठन भंग है और उसका पुनर्गठन होगा। हरियाणा के आई ए एस कृपा राम पूनिया भी इस्तीफा देकर राजनीति में आये और वजीर बने।
जब खेमका को सरकारी कार नहीं मिली और वे साइकिल पर सचिवालय जाते थे।


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-अखबारों में उनकी साइकिल पर जाते फोटो छपी। संयोग से उसी दिन तत्कालीन सी एम् चौटाला की चंडीगढ़ में प्रेस कॉन्फ्रेंस थी। खेमका मीडिया के डार्लिंग रहे हैं सो एक पत्रकार ने चौटाला से पूछ लिया की आई ए एस अफसर खेमका साहिब साइकिल से सचिवालय आ रहे हैं।

गुस्ताखी माफ हरियाणा :कलम की ताकत से भ्रष्ट नेताओं और अफसरों की टोपी उडाते हुए लेखक पवन बंसल
हाजिर -जवाब चौटाला बोले भाई कौन अफसर। हरियाणा में अढ़ाई सो आई ए एस अफसर हैं एक पत्रकार ने दोबारा कहा तो चौटाला बोले कार देना चीफ सेक्रेटरी का काम है ना कि चीफ मिनिस्टर का। पत्रकार ने फिर कहा तो चौटाला को खुंदक आ गयी लेकिन उन्होंने इसे हंसी में उड़ाते हुए कहा कि भाई अगर जयादा तकलीफ हो रही है तो आप चंदा इकठा कर उन्हें कार भेंट कर दो।

जब चंद्रावती की सरकारी गाडी बंसी लाल ने छीन ली थी।

अपना हरियाणा ऐसे कामों के लिए चर्चित है। किस्सा पुराना है जब बंसी लाल अपनी वजीर चंद्रावती से नराज हो गए। चंडीगढ़ सचिवालय से जब चंद्रावती नीचे उत्तरी तो उनकी कार गायब और हरियाणा का जाट बंसीलाल ऊपर खड़ा तमाशा देख रहा। वक्त बदला और उसी चंद्रावती ने भिवानी लोकसभा सीट से बंसी लाल की बंसी बजा दी।

स्वतंत्र और सच्ची पत्रकारिता के लिए ज़रूरी है कि वो कॉरपोरेट और राजनैतिक नियंत्रण से मुक्त हो। ऐसा तभी संभव है जब जनता आगे आए और सहयोग करे