हिमाचल प्रदेश में येलो अलर्ट के बीच वीरवार को मौसम बिगडऩे से पहाड़ी इलाकों में व्यापक बर्फबारी तथा मैदानी भागों में अंधड़ के साथ बारिश हुई। भारी बर्फबारी से शिमला सहित अन्य पर्वतीय जिलों में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। शिमला शहर में 26 दिन के भीतर तीसरी बार भारी बर्फ गिरी है, जिससे सैलानी गदगद हो गए हैं। यहां दिनभर बफऱ्बारी का दौर चला। शहर में जगह-जगह बिछी बर्फ का दीदार कर पर्यटक रोमांचित हो रहे हैं। बर्फबारी का लुत्फ उठाने आए पर्यटकों के कारण कारोबारियों को भी बड़ी राहत मिली है। राज्य में भारी बर्फबारी के कारण अप्पर शिमला सहित सैंकड़ों गांवों का जिला मुख्यालयों से संपर्क टूट गया है। तीन राष्ट्रीय राजमार्गों के अलावा 442 सडक़ें बंद हो गई हैं। जिसके कारण लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। वहीं रास्तों में फंसे पर्यटकों को भी दिक्कतें उठनी पड़ रही हैं। लोनिवि ने सडक़ों को खोलने के लिए जेसीबी व अन्य मशीनरी तैनात की गई है और सडक़ों से बर्फ को हटाया जा रहा है। लेकिन बर्फ के लगातार गिरने से सडक़ों को बहाल करने में दिक्कतें आ रही है। सडक़ों पर बर्फ की मोटी परत जमा होने के कारण सडक़ों को खोलना मुश्किल हो रहा है ।
राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण की दैनिक रिपोर्ट के मुताबिक बर्फबारी से नेशनल हाइवे-5, नेशनल हाइवे-505, नेशनल हाइवे-03 व स्टेट हाइवे-10 बाधित है। इसके अलावा 442 अवरुद्ध सडक़ों में शिमला जिला में सबसे ज्यादा 149, लाहौल स्पीति में 138, चम्बा जिला में 53, कांगड़ा में 21, कुल्लू में 26, मंडी में 45,सिरमौर में 9 और सोलन जिला में एक सडक़ शामिल है।
बर्फबारी से 642 बिजली ट्रांसफार्मर भी ठप पड़े हैं। सिरमौर जिला में सर्वाधिक 394 ट्रांसफार्मर बंद हैं। शिमला जिला में 106, मंडी में 80, कुल्लू में 53 और किन्नौर में 9 ट्रांसफार्मर बंद हैं। लाहौल-स्पीति में 27 और चम्बा जिला में 11 पेयजल स्कीमें भी प्रभावित हुई हैं।
बर्फबारी से शिमला में सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ है। संजौली-लक्कड़ बाजार सडक़ तथा जिला के ऊपरी क्षेत्रों कुफरी, नारकंडा, खिडक़ी और खड़ापत्थर में सडक़ें बन्द हैं। इन स्थानों पर पर्यटकों की गाडिय़ां फंसी हुई है। शिमला पुलिस ने पर्यटकों व स्थानीय लोगों से बर्फबारी वाले क्षेत्रों में सडक़ बहाल होने तक यात्रा न करने का आग्रह किया है। शिमला जिला के खड़ापत्थर में 7 इंच, चांशल व खिडक़ी में 6-6 इंच, चौपाल में 5 इंच, कुफरी व नारकंडा में 4-4 इंच और शिमला शहर में 2 इंच ताज़ा बर्फबारी दर्ज की गई है। इसी तरह चम्बा के भरमौर, किलाड़, पांगी व डलहौजी में एक से तीन इंच, कांगड़ा जिला के बीड बिलिंग में 4 और बड़ा भंगाल में 6 इंच, किन्नौर के कल्पा, मोरंग, नाको, निचार, पूह, कड़छमव सांगला में 2 से 5 इंच, कुल्लू की अटल टनल में 2 इंच, मनाली में 3 इंच और रोहतांग में 1.8 फुट, लाहौल-स्पीति के कोकसर व सिसु में 3-3 इंच, मंडी जिला के शिकारी माता में 6 इंच, पराशर लेक में 4 इंच, सोलन जिला के चायल में 2 इंच बर्फ गिरी है।
बारिश-बर्फबारी के कारण पूरे प्रदेश में शीतलहर बढ़ गई है। खासकर बर्फबारी वाले पर्वतीय क्षेत्रों में लोगों को कड़ाके की ठंड का सामना करना पड़ रहा है। राज्य भर में अधिकतम व न्यूनतम तापमान में भारी गिरावट आई है। शिमला में न्यूनतम तापमान 0.4 डिग्री, सुंदरनगर में 6.5 डिग्री, भुंतर में 5.2 डिग्री, कल्पा में -2 डिग्री, धर्मशाला में 5.4 डिग्री, ऊना में 7.4 डिग्री, नाहन में 8.1 डिग्री, केलांग में -4.8 डिग्री, पालमपुर में 5 डिग्री, सोलन में 3.7 डिग्री, मनाली में 0.2 डिग्री, कांगड़ा में 8.6 डिग्री, मंडी में 8.4 डिग्री, बिलासपुर में 5, हमीरपुर में 6.8 डिग्री, चम्बा में 7 3 डिग्री, डलहौजी में -1.3 डिग्री, कुफरी में -2 डिग्री, जुब्बड़हट्टी में 4.4 डिग्री और पांवटा साहिब में 10.9 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया है। इस बीच मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक सुरेंद्र पॉल ने कहा है कि पश्चिमी विक्षोभ के असर से राज्य में बारिश-बर्फबारी हो रही है। उन्होंने कहा कि शुक्रवार को भी राज्य के मैदानी इलाकों में बारिश हो सकती है और इसके साथ ही ऊपरी इलाकों में बर्फबारी होगी। उनका कहना है कि शनिवार यानी 5 फरवरी को पूरे प्रदेश में मौसम साफ रहेगा। 6 व 7 फरवरी को मैदानी इलाकों में मौसम साफ रहेगा, जबकि मध्यवर्ती व उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में बर्फबारी होने के आसार हैं।