Bjp ने यमुनानगर में वर्षों से पार्टी की सेवा कर रहे कार्यकर्ताओं की अपेक्षा हाल ही में पार्टी में शामिल हुई सुमन पर जताया विश्वास
भाजपा ने यमुनानगर से मेयर पद के लिए सुमन को उतारा
क्या सुमन बहमनी को स्वीकार करेंगे भाजपा के कार्यकर्ता
यमुना टाइम्स ब्यूरो
यमुनानगर( राकेश भारतीय)हरियाणा में नगर निगम चुनावों की घोषणा के साथ ही भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने मेयर पद के उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी है। इस सूची में यमुनानगर से सुमन बहमनी को मेयर पद के लिए उम्मीदवार घोषित किया गया है। सुमन बहमनी पूर्व में जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी (DEO) के पद पर कार्यरत थीं। उन्होंने स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) लेकर भाजपा की सदस्यता ग्रहण की थी।
सुमन बहमनी ने अपने करियर की शुरुआत शिक्षा क्षेत्र से की थी। वह बिलासपुर स्कूल में प्रिंसिपल के पद पर कार्यरत रहीं और बाद में जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी के पद पर नियुक्त हुईं। अपने कार्यकाल के दौरान, उन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया।
वर्ष 2024 में, सुमन बहमनी ने स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) लेकर राजनीति में कदम रखा और भाजपा की सदस्यता ली। उन्होंने विधानसभा चुनाव में भाजपा से टिकट के लिए दावेदारी की थी, लेकिन टिकट न मिलने के कारण अब उन्हें यमुनानगर नगर निगम के मेयर पद के लिए उम्मीदवार बनाया गया है।
सुमन बहमनी के पति आयुष विभाग से सेवानिवृत्त हो चुके हैं। उनकी पारिवारिक पृष्ठभूमि और प्रशासनिक अनुभव को देखते हुए, भाजपा ने उन्हें यमुनानगर के मेयर पद के लिए उपयुक्त उम्मीदवार माना है।
हरियाणा में नगर निगम चुनावों की तारीखों की घोषणा हो चुकी है। नामांकन प्रक्रिया 11 फरवरी से शुरू होगी, जबकि मतदान 2 मार्च को निर्धारित है।
सुमन बहमनी के राजनीतिक सफर की यह नई शुरुआत यमुनानगर की जनता के लिए महत्वपूर्ण होगी। उनके प्रशासनिक अनुभव और शिक्षा के क्षेत्र में योगदान को देखते हुए, उनसे नगर निगम के कार्यों में सकारात्मक बदलाव की उम्मीद की जा रही है।
**सुमन बाहमनी: शिक्षा, सेवा और राजनीति का सफर**
सुमन बाहमनी का जन्म 13 फरवरी 1970 को एक गांव में हुआ। उन्होंने अपनी शिक्षा पूरी करते हुए डबल एम.ए. (राजनीतिक शास्त्र) किया, फिर एम.एड और एम.फिल (राजनीतिक शास्त्र) की डिग्री प्राप्त की। शिक्षा के क्षेत्र में उनका योगदान महत्वपूर्ण रहा, और वे एक स्कूल में प्रिंसिपल के पद पर कार्यरत रहीं। हालांकि DEO पद से उनकी सेवानिवृत्ति में अभी 4 वर्ष शेष थे, लेकिन विधानसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए उन्होंने वीआरएस लेकर भारतीय जनता पार्टी से अपनी दावेदारी पेश की।
सुमन बाहमनी के दो बच्चे हैं—उनका बेटा सिविल इंजीनियर है, जबकि बेटी डॉक्टर है। उनकी बेटी की शादी 21 फरवरी को तय हुई है, जिसे वे सौभाग्यशाली क्षण मानती हैं। संयोग से, 13 फरवरी को अपने जन्मदिन के ठीक अगले दिन ही भाजपा ने उन्हें मेयर पद के उम्मीदवार के रूप में घोषित कर दिया। इस निर्णय को वे ईश्वर का आशीर्वाद मान रही हैं और समाज की सेवा के लिए प्रतिबद्ध हैं।
भाजपा द्वारा मेयर पद के उम्मीदवारों की घोषणा के बाद, यमुनानगर में चुनावी सरगर्मियां तेज हो गई हैं। सभी राजनीतिक दल अपने-अपने उम्मीदवारों के समर्थन में प्रचार-प्रसार में जुट गए हैं। आगामी चुनावों में जनता का निर्णय ही तय करेगा कि यमुनानगर की बागडोर किसके हाथ में होगी।
सुमन बहमनी के समर्थकों में जहां उत्साह है, और वे उनके नेतृत्व में यमुनानगर के विकास की उम्मीद कर रहे हैं वहीं भारतीय जनता पार्टी में वर्षों से समर्पित होकर सेवा कर रहे कार्यकर्ताओं में रोष भी है हालांकि वह अपने रोष को दबी जुबान में ही प्रकट कर रहे हैं उनका कहना है कि हाल ही में पार्टी में शामिल होने वाली नेता को तरजीह देकर पार्टी ने पुराने कार्यकर्ताओं की अनदेखी की है।अब यह देखना दिलचस्प होगा कि आगामी चुनावों में जनता का समर्थन किसे मिलता है और यमुनानगर का भविष्य किस दिशा में अग्रसर होता है।